
निजी वाहन से अटरिया थाने से रवाना हुए : रिश्वतखोर दारोगा अरुण शर्मा , लखनऊ एंटी करप्शन टीम को दी जाएगी सुपुर्दगी
संवाददाता,, नरेश गुप्ता
अटरिया सीतापुर: सीतापुर पुलिस के लिए एक बड़ा और शर्मनाक मामला सामने आया है, जहाँ रिश्वतखोरी के आरोप में रंगे हाथों गिरफ्तार किए गए दारोगा अरुण कुमार शर्मा को आगे की कानूनी कार्रवाई के लिए बुधवार की सुबह निजी वाहन से लखनऊ एंटी करप्शन टीम के हवाले कर दिया गया है। अटरिया थाने से पुलिस टीम आरोपी दारोगा और उससे जुड़े सभी महत्वपूर्ण साक्ष्यों को सुरक्षित लखनऊ लेकर रवाना हुई है।

( आरोपी दारोगा अरुण कुमार शर्मा )
{क्या है पूरा मामला?}
यह पूरा मामला सिधौली कोतवाली क्षेत्र का है, जिसमें दारोगा अरुण कुमार शर्मा पर रिश्वत मांगने का गंभीर आरोप लगा था। कसमंडा क्षेत्र के सरवा हरदोइया विकासखंड के एक किसान, पंकज कुमार सिंह ने इस मामले में सीधे एंटी करप्शन टीम से शिकायत की थी।
किसान पंकज कुमार सिंह का आरोप था कि दारोगा अरुण कुमार शर्मा उन पर दर्ज एक फर्जी मुकदमे को खत्म करने के एवज में उनसे ₹10,000 की मोटी रिश्वत की मांग कर रहे थे।

( पीड़ित पंकज कुमार सिंह)
{एंटी करप्शन टीम का सफल जाल}
किसान की शिकायत को गंभीरता से लेते हुए, एंटी करप्शन टीम ने त्वरित कार्रवाई की योजना बनाई। टीम ने जाल बिछाया और जैसे ही दारोगा अरुण कुमार शर्मा ने किसान से चौड़ीयां पुलिस चौकी पर ₹10,000 की रिश्वत ली, उन्हें रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया गया।
गिरफ्तारी के बाद, आरोपी दारोगा को पहले सिधौली सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में मेडिकल परीक्षण के लिए भेजा गया। इसके उपरांत, नियमानुसार अग्रिम कार्रवाई के लिए उन्हें अटरिया थाना टीम को सौंप दिया गया था।
{लखनऊ रवाना हुई पुलिस टीम}
आज, यानी बुधवार की सुबह, अटरिया थाना की पुलिस टीम ने आरोपी दारोगा को लेकर लखनऊ के लिए रवानगी की। इस टीम में मुख्य रूप से दारोगा सत्येंद्र सिंह और दीवान कुलदीप सिंह शामिल थे।
सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि दीवान कुलदीप सिंह द्वारा एंटी करप्शन टीम द्वारा मौके पर एकत्र किए गए सभी साक्ष्यों को पूरी सुरक्षा के साथ लखनऊ ले जाया गया है। अब इस हाई-प्रोफाइल मामले में आगे की सम्पूर्ण कानूनी कार्यवाही लखनऊ की एंटी करप्शन टीम द्वारा सुनिश्चित की जाएगी, जिससे यह संदेश साफ है कि भ्रष्टाचार के खिलाफ जीरो टॉलरेंस की नीति पर सख्ती से काम होगा।
