श्रावण माह के अंतिम सोमवार को बालेश्वर महादेव मंदिर में उमड़ा भक्तों का सैलाब, कांवड़ियों ने किया जलाभिषेक

अटरिया बाला जी कमेटी ने नंगे पांव निकाली कावड़ यात्रा छह शिवालयों मे किया जलाभिषेक

अटरिया: सावन के अंतिम सोमवार को अटरिया क्षेत्र में भक्ति और उत्साह का अद्भुत नजारा देखने को मिला। क्षेत्र के कई गांवों से आए कांवड़ियों ने मां आदि गंगा गोमती के तट पर स्थित प्रसिद्ध बालेश्वर महादेव मंदिर में जलाभिषेक कर अपनी आस्था प्रकट की।

युवाओं के जोश और भक्ति से भरी इन कांवड़ यात्राओं में कई किलोमीटर का सफर तय कर भक्त बाबा बालेश्वर के दरबार पहुंचे। बना का गांव से निकली एक कांवड़ यात्रा ने विशेष रूप से ध्यान आकर्षित किया। इस दल के भक्तों ने बिठूर स्थित मां गंगा के तट से जल भरकर 100 किलोमीटर से अधिक की दूरी तय कर भगवान शिव का अभिषेक किया।

इसी तरह, देवरिया और हीरपुर गांव से भी कांवड़ यात्राएं निकाली गईं। देवरिया के भक्तों ने पैदल चलकर शिव शंभू का जलाभिषेक किया, जबकि हीरपुर से आई कांवड़ यात्रा का समापन भी आदि गंगा गोमती के तट पर बालेश्वर महादेव को जल अर्पित करने के बाद हुआ।

इन सभी यात्राओं में युवाओं की भागीदारी सबसे ज्यादा रही। किसी टीम ने 100 किलोमीटर से अधिक, तो किसी ने 50 और 20 किलोमीटर की दूरी तय कर अपनी अटूट श्रद्धा का परिचय दिया।

हर हर महादेव और बम-बम भोले के जयकारों से पूरा क्षेत्र गूंज उठा। भक्तों का यह उत्साह सावन मास के अंतिम सोमवार को और भी खास बना रहा।

श्री बालाजी कमेटी ने निकाली भव्य पैदल कांवर यात्रा

श्रावण मास के अन्तिम सोमवार को अटरिया में भक्ति और आस्था का शानदार संगम देखने को मिला, जब श्री बालाजी कमेटी द्वारा एक विशाल पैदल कांवर यात्रा का आयोजन किया गया। अटरिया थाना क्षेत्र के अवस्थी नगर निवासी लवकुश अवस्थी और उनके सहयोगियों ने इस यात्रा को सफलतापूर्वक पूरा किया, जिसमें बड़ी संख्या में शिव भक्त शामिल हुए।

गोमती के पवित्र जल से महादेव का अभिषेक

यह यात्रा अटरिया के पास स्थित पौराणिक श्री बालेश्वर महादेव तीर्थ से शुरू हुई। यहां कांवरियों ने आदि गंगा गोमती के पवित्र जल से भगवान शिव का जलाभिषेक किया और अपनी कांवरों में यह पावन जल भरा। इस दौरान, “हर हर महादेव” और “जय शिव शंभू” के जयकारों से पूरा वातावरण गूंज उठा।

जल भरने के बाद, यह यात्रा धरावा स्थित महादेव मंदिर की ओर बढ़ी, जहां भक्तों ने भगवान शिव का जलाभिषेक किया। इसके बाद, यात्रा ने अटरिया ग्राम के चार अन्य प्रमुख शिव मंदिरों का भी दौरा किया और वहां भी विधि-विधान से जलाभिषेक किया गया।

लवकुश अवस्थी का अटूट संकल्प
यात्रा के मुख्य आयोजक लवकुश अवस्थी ने बताया कि यह कांवर यात्रा पिछले चार सालों से लगातार आयोजित हो रही है। उन्होंने भावुक होकर कहा, “यह यात्रा भगवान शिव की इच्छा से जारी है और उनकी इच्छा तक जारी रहेगी।”

अवस्थी ने अपनी दिनचर्या के बारे में बताया कि वे प्रतिदिन सुबह 3 बजे अपने घर से नंगे पांव मां आदि गंगा गोमती के तट पर स्थित बालेश्वर धाम के लिए निकलते हैं। वहां से गोमती का जल लेकर वे सबसे पहले धरावा स्थित श्री महादेव मंदिर में जलाभिषेक करते हैं, और फिर अटरिया कस्बे के चार अन्य शिव मंदिरों में भी महादेव का अभिषेक करते हैं। यह यात्रा भक्तों की अटूट श्रद्धा और समर्पण का प्रतीक है।

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