बांगरमऊ के टैक्सी चालक की निर्मम हत्या: सीतापुर में मिला टेप से बंधा शव, लखनऊ में दर्ज थी गुमशुदगी

बांगरमऊ के टैक्सी चालक की निर्मम हत्या: सीतापुर में मिला टेप से बंधा शव, लखनऊ में दर्ज थी गुमशुदगी

संवाददाता,, नरेश गुप्ता

लखनऊ/उन्नाव/सीतापुर। उन्नाव जिले के बांगरमऊ निवासी एक निजी टैक्सी चालक योगेश पाल (28) की निर्मम हत्या का मामला सामने आया है। उनका शव सीतापुर के पिसावां थाना क्षेत्र से बरामद हुआ है। सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि योगेश के मुंह पर चौड़ा टेप चिपका था, दोनों हाथ पीछे टेप से बंधे थे, और उनके गले पर धारदार हथियार से गहरा घाव भी साफ नजर आ रहा था। परिजनों ने सोशल मीडिया पर वायरल तस्वीरों के आधार पर शव की शिनाख्त की, जिसके बाद पुलिस ने शव को पोस्टमॉर्टम के बाद उन्हें सौंप दिया।

​सीतापुर जाने की बात कहकर निकले थे, रात भर नहीं लौटे

​योगेश पाल, जो लखनऊ के पारा थाना अंतर्गत बादल खेड़ा में किराए पर रहते थे, 29 सितंबर की शाम करीब 6 बजे अपनी पत्नी वंदना को फोन पर बताया था कि वह सीतापुर जा रहे हैं और रात तक लौट आएंगे। हालांकि, जब वह पूरी रात वापस नहीं लौटे, तो उनकी पत्नी ने अगले दिन यानी 30 सितंबर को लखनऊ में रह रहे अपने पिता बद्री और योगेश के पिता राधेलाल पाल को सूचना दी।

​वंदना के पिता की तहरीर पर लखनऊ की पारा पुलिस ने तत्काल योगेश की गुमशुदगी दर्ज कर ली। परिजन भी लखनऊ पहुंचे और योगेश की तलाश शुरू की, लेकिन उनका कोई पता नहीं चल सका।

​सोशल मीडिया की तस्वीरों से हुई शिनाख्त

​परिवार की तलाश का दुखद अंत 2 अक्टूबर को हुआ, जब सीतापुर के पिसावां थाना क्षेत्र में सरियापुर से फुकहा मार्ग पर झाड़ियों में एक अज्ञात शव मिलने की सूचना मिली। इस शव की तस्वीरें और वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गए।

​परिजनों ने इन तस्वीरों को देखकर सीतापुर पहुंचे और पुलिस से संपर्क किया। पुलिस ने बताया कि शव पोस्टमॉर्टम हाउस में रखा है। वहां पहुंचकर परिजनों ने शव की शिनाख्त योगेश पाल के रूप में की।

​हत्या के पीछे लूटपाट का संदेह

​शव की हालत को देखकर साफ माना जा रहा है कि योगेश की हत्या लूटपाट के इरादे से की गई और शव को हत्या करने के बाद यहां फेंक दिया गया। मृतक योगेश के मुंह पर टेप चिपका होना और हाथ बंधे होना यह दर्शाता है कि हत्यारों ने बड़ी क्रूरता से वारदात को अंजाम दिया। गले पर धारदार हथियार का गहरा घाव हत्या की पुष्टि करता है।

​दुखद बात यह है कि योगेश की टैक्सी कार और उनका मोबाइल फोन अभी तक बरामद नहीं हो सका है, जिससे लूटपाट की आशंका और भी बलवती हो जाती है। झाड़ियों में शव को सबसे पहले चरवाहों ने देखा था, जिन्होंने पुलिस को इसकी सूचना दी।

​परिवार में मातम

​पोस्टमॉर्टम के बाद पुलिस ने शव परिजनों को सौंप दिया। परिजन देर रात शव लेकर अपने पैतृक गांव आसत (बांगरमऊ) पहुंचे। योगेश की मां राधिका, पत्नी वंदना, भाई अनुराग और बहन अनुराधा सहित परिवार के अन्य सदस्य शव देखकर बेहाल हो गए। परिवार में मातम पसरा हुआ है और सभी न्याय की गुहार लगा रहे हैं। पुलिस अब हत्यारों की तलाश में जुट गई है और मोबाइल फोन व कार की बरामदगी के लिए प्रयास कर रही है।

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